जशपुर जिला से पहुंचे लोगों ने कार्रवाई और रुपये वापस दिलाने का किया आग्रह
अंबिकापुर। सामाजिक संस्था के आड़ में चिटफंड कंपनी का संचालन व कई लोगों से नौकरी के नाम पर कई लोगों से लाखों रुपये की वसूली करने की शिकायत सरगुजा पुलिस अधीक्षक के कार्यालय पहुंच कर छल का शिकार हुए लोगों ने की है। इन्होंने शिकायत पत्र में बताया है कि शासकीय सचिव व एक अन्य व्यक्ति उन्हें धोखे में रखकर नौकरी दिलाने के नाम पर प्रति व्यक्ति एक लाख 55 हजार रुपये वसूल लिया। इसके बाद उन्हें न तो नौकरी मिली और न ही लिए गए रकम को वे वापस कर रहे हैं। मामला संज्ञान में आने पर अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक सरगुजा ने इन्हें उचित कार्रवाई का भरोसा दिलाया है।
जशपुर जिला के पत्थलगांव थाना अंतर्गत ग्राम पण्डरीपानी निवासी शंकर प्रसाद चैहान पिता दिलीप राम चैहान 24 वर्ष, ननिला चैहान पति नन्द कुमार चैहान 38 वर्ष निवासी ग्राम सुखरापारा, देवेन्द्र दास वैष्णव पिता हिराधन दास वैष्णव 45 वर्ष निवासी ग्राम तमता, चंदना पाले पिता उदराज पाले 18 वर्ष निवासी ग्राम पण्डरीपानी सहित अन्य ने पुलिस अधीक्षक के नाम दिए गए आवेदन में बताया है कि सूरजपुर जिला के भगवानपुर, प्रेमनगर में शासकीय सचिव के पद पर कार्यरत डिगम्बर राम भगत उर्फ अम्बर व बसील खलखो बलरामपुर जिला निवासी के द्वारा सपोर्ट इंडिया डेव्हलपमेंट प्रोग्राम के तहत चिटफंड कंपनी का निर्माण करके नौकरी का झांसा दिया और 01 लाख 55 हजार 500 रुपये प्रत्येक हितग्राही से ब्लॉक प्रभारी के पद पर नियुक्ति के नाम पर वसूल लिया। नौकरी नहीं मिलने पर जब उन्होंने रुपये वापस मांगा तो टाल-मटोल करने लगे। इनके द्वारा द्वय के विरूद्ध केस दर्ज करने और रुपये वापस दिलाने का आग्रह किया गया है। बताया गया है कि इनके द्वारा वर्तमान में अपना कार्यालय अंबिकापुर में खोलकर रखा गया है। जशपुर जिला से पहुंचे ग्रामीणों ने बताया है कि डिगम्बर राम भगत के सम्पर्क में वे जनवरी 2024 में आए थे और ब्लॉक प्रभारी के पद पर नौकरी मिलने के लालच में आकर 01 लाख 55 हजार 500 रुपये दे दिए। पैसा लेने के बाद इन्हें न तो नियुक्त मिली और न ही उसने किसी भी हितग्राही को नियुक्ति प्रमाणपत्र दिया। एक वर्ष तक सभी को अनावश्यक घुमाते रहे। ठगी होने का एहसास होने पर जब उन्होंने नौकरी के नाम पर लिए गए रुपये को मांगना शुरू कर दिया तो इनका कहना था कि रुपये कंपनी के खाते में जमा करा दिया गया है, कंपनी ही रुपये वापस करेगी। आरोप है कि रुपये वापस करने के लिए दबाव बनाने पर इनके द्वारा झूठे पुलिस केस में फंसाकर जेल भेजवा देने की धमकी दे दी गई।