अंबिकापुर। सरगुजा जिले के सीतापुर क्षेत्र के राजमिस्त्री संदीप लकड़ा हत्याकांड के मामले में पुलिस ने शव बरामद करने के बाद मेडिकल कॉलेज अस्पताल अंबिकापुर के मर्च्युरी में रखवाया है। फोरेंसिक विभाग ने पत्र जारी करके मृतक के शव का अंतिम संस्कार करने के लिए कहा है।
लंबे समय तक मानव शरीर मर्च्युरी में रखने से सड़ने-गलने की स्थिति बन गई है और आसपास संक्रमण फैलने का खतरा बना हुआ है। इधर सरगुजा रेंज के आईजी ने सीतापुर से हटाए गए टीआई प्रदीप जॉन लकड़ा को निलंबित कर दिया है।
विदित हो कि सीतापुर के बहुचर्चित संदीप लकड़ा हत्याकांड मामले में मृतक संदीप लकड़ा के शव को पोस्टमार्टम के बाद स्वजन के द्वारा स्वीकार नहीं करने से लगभग 20 दिनों से मेडिकल कॉलेज अस्पताल के मर्च्युरी में रखा गया है। फोरेंसिक विभाग ने एक पत्र जारी कर कहा है कि मानव शरीर को ज्यादा दिन तक मर्च्युरी में नहीं रखा जा सकता है, इससे संक्रमण भी फैल सकता है, साथ ही इससे नई परेशानी खड़ी हो सकती है। इसे लेकर सीतापुर एसडीएम को पुलिस प्रशासन ने पत्र जारी कर संदीप लकड़ा के स्वजन से शव का अंतिम संस्कार किए जाने को लेकर बातचीत करने कहा है। परिवार के लोग सर्व आदिवासी समाज के साथ धरने पर बैठे हैं। ये मुख्य आरोपी अभिषेक पांडेय की गिरफ्तारी के बाद ही शव अंतिम संस्कार के लिए लेने की बात पर अड़े हैं। पुलिस और प्रशासन ने कई बार मृतक के स्वजन और समाज के लोगों को समझाइश दी पर अब तक प्रशासन इन्हें समझाने में सफल नहीं हो पाई है। इस बीच फोरेंसिक विभाग द्वारा जारी किए गए पत्र से शव सुपुर्दगी को लेकर नया मोड़ सामने आ गया है।
तत्कालीन सीतापुर टीआई निलंबित
सीतापुर टीआई प्रदीप जॉन लकड़ा को सरगुजा रेंज के आईजी अंकित कुमार गर्ग ने निलंबित कर दिया है। संदीप हत्याकांड सुर्खियों में आने के बाद इन्हें सीतापुर थाना से हटाकर साइबर सेल प्रभारी बनाया गया था। इसके बाद मामले की जांच के लिए आईजी ने टीम गठित की थी। मामले की जांच पुलिस विभाग के राज्य पुलिस सेवा के दो अधिकारी कर रहे थे। प्रथम दृष्टया जांच में टीआई प्रदीप जॉन लकड़ा की लापरवाही सामने आई है। इसके बाद आईजी ने गुरुवार को सीतापुर से हटाए गए टीआई प्रदीप जॉन लकड़ा को निलंबित कर दिया है।