जन्माष्टमी-विसर्जन को लेकर समितियों के बीच हुआ था विवाद
रायपुर । राजधानी में श्रीकृष्ण जन्माष्टमी के अवसर पर मूर्ति स्थापना एवं विसर्जन के दौरान दो समितियों के बीच हुए विवाद ने हिंसक रूप ले लिया। इस घटना में दोनों पक्षों के सदस्यों के बीच जमकर मारपीट हुई, जिसके बाद पुलिस ने त्वरित कार्यवाही करते हुए कई आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है।
घटना का विवरण:
26 अगस्त को रायपुर के गुजराती समुदाय की दो समितियों ने श्रीकृष्ण जन्माष्टमी के उपलक्ष्य में भगवान श्रीकृष्ण की प्रतिमा स्थापित की थी। 27 अगस्त को मूर्ति विसर्जन और पंडाल के रास्ते को लेकर दोनों पक्षों में विवाद उत्पन्न हो गया। पुलिस ने तत्काल मौके पर पहुंचकर शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए दोनों पक्षों को समझाइश दी।
हालांकि, 28 अगस्त को दोनों पक्षों के बीच विवाद फिर से उभर आया, और यह विवाद गाली-गलौच, जान से मारने की धमकी, और राड, पत्थर, ईंट, डंडा एवं चाकू से हमले तक पहुंच गया।
इस घटना की सूचना मिलते ही थाना आजाद चौक पुलिस ने मौके पर पहुंचकर त्वरित कार्यवाही की और दोनों पक्षों के कई आरोपियों को गिरफ्तार किया।
अपराध क्रमांक 192/2024 के तहत, प्रार्थी रंजीत काछीमाली की रिपोर्ट पर बाबू, शक्ति पनारिया, गीता काछीमाली और अन्य के विरुद्ध अपराध दर्ज किया गया है।
आरोपियों में शामिल: कालू काछीमाली, बाबू काछीमाली, गीता काछी माली, प्रदीप काछीमाली, रवि कलाडिया, सुरेश पनारिया, कन्हैया काछीमाली। अपराध क्रमांक 193/2024 के तहत, प्रार्थी कालू काछीमाली की रिपोर्ट पर रंजीत, कुंदन, साजन, और अन्य के विरुद्ध अपराध दर्ज किया गया है।
आरोपियों में शामिल: संजय काछीमाली उर्फ प्रेमु, राज बाघरी, विजय काछीमाली, विक्की काछीमाली। इन सभी आरोपियों को गिरफ्तार कर न्यायालय के समक्ष प्रस्तुत किया गया है, जहां से जेल वारंट प्राप्त होने के बाद उन्हें केंद्रीय जेल रायपुर भेज दिया गया है।
पुलिस जनता से अपील करती है कि शांति और सद्भाव बनाए रखें, और किसी भी प्रकार के विवाद से बचें।